कृष्णा असावरा को पीएचडी आइबिस पक्षियों पर किया शोध

 कृष्णा असावरा को पीएचडी

आइबिस पक्षियों पर किया शोध



उदयपुर, 2 मार्च। कृष्णा असावरा को मोहनलाल सुखाड़िया विश्वविद्यालय उदयपुर ने पीएचडी की उपाधि प्रदान की हैं। उन्होंने अपना शोध कार्य तीन समस्थानिक आइबिस पक्षी प्रजातियों पर यूनिवर्सिटी कॉलेज ऑफ साइंस के असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ. विजय कुमार कोली के निर्देशन में पूरा किया है। उनका शोध विषय “राजस्थान के उदयपुर जिले में तीन समस्थानिक आइबिस पक्षी प्रजातियों (ब्लैक-हेडेड आइबिस, रेड-नेप्ड आइबिस, एवं ग्लॉसी आइबिस) के मध्य खाद्य की खोज, खाद्य की उपलब्धता एवं खाद्य क्षेत्र का चयन“ था।

असारवा के शोध अध्ययन से पता चलता है कि ब्लैक-हेडेड एवं ग्लॉसी आइबिस पक्षी प्रजाति ज्यादातर पानी के किनारे जबकि रेड-नेप्ड आइबिस विभिन्न आवास जैसे की आद्रभूमि, खेत और खुले क्षेत्र पर भोजन की खोज करते है। रेड-नेप्ड आइबिस द्वारा खाद्य क्षेत्र का चयन ब्लैक-हेडेड एवं ग्लॉसी आइबिस पक्षी प्रजाति दोनों से बहुत अलग पाया गया हैं। मानव उपस्थिति के प्रति सहनशील होने के कारण सिंचाई क्षेत्रों में सबसे अधिक पाया गया। इसका कारण यह हो सकता है कि खेतों की मिट्टी ढीली होने से कीड़े-मकोड़े और कई अन्य जीवों को आसानी से ढूंढा जा सकता हैं।

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