अधिस्वीकृत पत्रकारों की पेंशन सीमित नियमों में एकाधिकार
अधिस्वीकृत पत्रकारों की पेंशन सीमित नियमों में एकाधिकार
-- कैलाश चंद्र कौशिक
जयपुर! राजस्थान में अन्य राज्यों की तर्ज पर भी समान पेंशन, सुरक्षा का अभाव है! समय के अनुसार ,प्राप्त प्रार्थना पत्रों पर विचार कर राज्य सरकार को निर्णय लिया जाना चाहिए! बिखरे हुए पत्रकारों को एक छत्र के नीचे लाना संभव नहीं होगा, मात्र प्रयास हैं! स्वतंत्र पत्रकारों में भी सभी को 70 उम्र की अधिकता के जीवन यापन संभव नहीं है! स्वास्थ्य के लिए अलग से सरल विकल्प निर्धारित किया जाना चाहिए! यह नवीन उपलब्धि आर.जे.एच.एस.( Rajasthan Journalists Health Scheme) सरल बनाई जाती है तो बहुत- बहुत ही कमजोर आर्थिक वर्ग के पत्रकार लाभांवित होंगे! पहले के गरीब पत्रकारों को गढ़ मिले,नये थे जिन्हें विज्ञापन नहीं मिलते थे! वह आज अमीर हो गये! वह अपनी वाहवाही बटोरने में, अन्य को क्या समझेंगे? अब नियम बदलो, समय और आवश्यकता अनुसार पीड़ित व्यक्ति को लाभ दें! और राज्य सरकार भी उपकृत हो!
10 वर्ष की लम्बी अवधी का अधिस्वीकृत होना और उम्र दराज होने का कोई मेल नहीं है!
स्वतंत्र पत्रकार बहुत कम संख्या में हैं! अधिस्विकरण 💳कार्ड 70 वर्ष पर करना उचित होगा! अब नियमों को बदलो सरकार, इसकी वजह है!चौथे स्तंभ को मजबूत करना चाहिए तभी जनता और सरकार के बीच संवाद हो सकेगा! इसके लिए पत्रकार सुरक्षा परिषद राजस्थान पुरजोर समर्थन करती है!
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