पशु पालन विभाग के वरिष्ठ अधिकारीयों की प्रोग्रेस रिपोर्ट, फ़र्जी सर्विस कैसेज बनाना
पशु पालन विभाग के वरिष्ठ अधिकारीयों की प्रोग्रेस रिपोर्ट, फ़र्जी सर्विस कैसेज बनाना
-- कैलाश चंद्र कौशिक
जयपुर। सवाई माधोपुर के अंतर्गत वर्तमान बहु उद्देशीय पशु चिकित्सालय पूर्व में प्रथम श्रेणी पशु चिकित्सालय, हिंडोनसिटी हुआ करता था। विभाग में किसी एल.एस.ए.को वेतन मिले या नहीं मिले, नियमों को ताक में रख कर जिले के बाहर दूर दूर कर दिये जाते रहे,जिनमें सर्विस ट्रीबुनल,जयपुर स्टै होने पर विभाग में मनमानी के चलते कभी भी पालना नहीं की जाकर दुश्मनी साधी गई।इस दौरान पत्रकार, इस विभाग में कर्मी रहा, जब वेतन,भत्ते समय पर नियमनुसार कभी नहीं देकर दमन किया जाता है? वरिष्ठ पशु चिकित्सक भागीरथ के ग़लत कुत्सित कुप्रयास फ़र्जी रिपोर्ट करते हुए ज्ञापन, विज्ञापन किये परंतु अतिरिक्त सत्र न्यायालय में, उपरांत राजस्थान सिविल सेवा अपील अधिकरण, अपील संख्या- 1076/07-06-1999 जयपुर से हारे,फिर भी विभाग से पालना नहीं होने दी गई? पालना होने पर नियमानुसार वेतन भुगतान नहीं होने दिया?? मेरे स्वम के द्वारा अदालत की अवमानना संख्या 868/2000 अभिकरण में लगाया,तब कंही जाकर भुगतान बिल संख्या 67/26-06-2008 से किया गया। फिर भी मान हानि और मेलासियऑस् डेमेजस् आई.पी.सी.500 तहत् इनके सम्मान में, अपना सम्मान खोकर केस दायर नहीं किया।
प्रस्तुत डॉक्यूमेंटस सभी मेरे सही थे। फिर भी घात पर घात नहीं छोड़ा है। यही घात सेवा समाप्ति का भीतरी घात लगाकर बदनाम कर जारी रहा, किसी और का जीने, सम्मान का हक नहीं हो सकता है क्या??
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