शातिर अपराधी लव और मानव अंग तस्करी जिहाद -
शातिर अपराधी लव और मानव अंग तस्करी जिहाद -
- कैलाश चंद्र कौशिक
जयपुर! देश के सभी स्टेस् की स्तिथि फिल्मी, सीरियल और अधूरी जानकारी देती शिक्षा और पुराने भारतीय ग्रंथों के सटीक ज्ञान का अभाव, अन्य विधर्मी साहित्य, दुष्परिणाम से लड़के, लड़कियाँ अन्विज्ञ हैं!
आप सभी जानते हैं कि #बॉडी_पार्ट्स आते कहाँ से है ? मुर्दाघरो में पड़ी लाशों से या एक्सीडेंट में मरने वालो से...?? और तो और,
जरूरत के हिसाब से अंगदान नही हो पाता, अब आप 40 लाख देकर किडनी बदलवा देते हो। अब पैसे दिए हो तो 16-25 आयु के आसपास की मजबूत किडनी ही लगाएगा डाॅक्टर...??
सवाल फिर से वही....
कि “बॉडी पार्ट्स” आते कहाँ से है ?
16-25 वर्ष के लड़के ज्यादातर नशा करके अपने ज्यादातर पार्ट खराब कर चुके होते हैं... और इनका निकालना थोड़ा कठिन कार्य भी है।
इन दुष्टों की कुदृष्टि की जगह है और वो है...
भारत में मिडिल क्लास फैमिली की लड़कियां...!!
ये लडकियां सिगरेट, गुटखा या शराब नही यूज करती और बॉडी को मेंटेन रखती हैं।
इनके दाँत, हड्डी, आँते, चमडा़, क्रेनियम, लीवर, किडनी, हृदय सब सही और ट्रांसप्लांट के लिए परफेक्ट होता है...
“#लव_जिहाद” का एक पहलू यह भी है...??
इन लड़कियों में कथित प्रेम का वायरस डालकर इनको कहीं भी ले जाना आसान होता है...
इस वायरस का अर्थ दिमाग में प्रेम-प्यार का कीड़ा।
इसीलिए दिसंबर में केदारनाथ जैसी “#लव_जिहाद” प्रोमोटिंग फिल्में आती हैं.. दिसम्बर में फ़िल्मी हीरोटाइप राज, करन, राहुल टाइप, अब्दुल, सलीम, जावेद जैसे आशिक घूमना शुरू करते हैं...???
"ये बंदे कोई “लवर” नही बल्कि प्रोफेशनल क्रिमिनल होते हैं।
हर साल फरवरी के अंत तक मिडिल क्लास फैमिली की 2 से 4 लाख लड़कियां घर से गायब हो जाती है।
ब्यौरा दिया जाता है कि.. आशिकी में घर से भाग गयी ना तो कोई केस बनता है, ना कोई खोजता है...??
और अंत में उनका एक बाल तक नही मिलता...
जरा सोचिये ! ये लड़कियां कहाँ पहुँच जाती है ??
आप अच्छी तरह समझ सकते हो जैसे ही कोई “लव जिहादी” पकड़ा जाता है, दोगले नेता और दोगली मिडिया इसमें फुदकना शुरू कर देती हैं।
असल में पहले तो इन हिंदू बच्चियों का भरपूर शारीरिक शोषण किया जाता है उसके पश्चात हत्या कर दी जाती है और अंग व्यापार से इनकी कमाई होती है..
खैर..... ???
अभी आप गूगल पर ' Black market price of human body parts सर्च करके अंगो के भाव देखिएगा.. फिर Organ Transplant Rate in India सर्च करके अंग प्रत्यारोपण का खर्च देखना...??
"अगर एक लड़की की बॉडी को ढंग से खोले, और प्रत्यारोपण योग्य अंगों की सही कीमत लगे तो कम से कम 5 करोड़ आराम से मिल जाता है।
इसीलिए “लव जिहाद” और मानव तस्करी पर ना तो कभी कोई कठोर कानून बनता है, और ना ही कोई बनने देता है...
एक बात और :---
कभी भी किसी नेता या बिजनेसमेन की बेटी घर से नहीं भागती/गायब होती है... ??
इस एंगल में हमेशा वही लड़कियाँ गायब होती हैं, जिनके परिवार की कोई राजनितिक या क़ानूनी Approach/पकड़ नही होती..
2015 में UP से 4000 लड़कियां गायब हुई थी, केवल ह्यूमन ट्रैफिकिंग से बचने के लिए ही Anti-Romio Squad बनाया गया था,जिसका नेताओ, मिडिया और बिना दिमाग वालों ने भरपूर विरोध किया था। हमारी लाडली “बहन-बेटियां” बाकी सब जानती हैं,किंतु क्रिमिनल मार्केटिंग और अंग प्रत्यारोपण के लिए सही और असली अंग आते कहाँ से हैं..
ये नही जानती...!!!
सभी समाज में अपनी बहिन बेटियों का ध्यान देंगें, क्योंकि, जो बाहर हो रहा है, वो हमारे घर में कभी भी हो सकता है..
कृपया, सामाजिक सुधार के लिए वातावरण से, लेखों को पढ़कर...अपने संपर्क में सभी को अनुभव शेयर कीजिये??जिससे किसी की बहन-बेटी इस तरह के षड़यंत्र का शिकार ना हो!
सनातनी हिंदू परंपरा है कि यत्र नार्यास्तु पुजयन्ते, रमन्ते तत्र देवता:, का श्लोक केवल हिन्दुओं पर लागू होता है, गैर हिन्दुओं पर नहीं..
इसका अभिप्राय आप भलीभांति समझ गए होंगे..
घर में, दोस्तों में, चर्चा करने में शर्माएं नहीं हमारी तथाकथित बेशर्मी किसी परिवार की इज्जत और बहिन-बेटी की अनमोल जान बचा सकेगी! हमारा अपना “नैतिक दायित्व” निभाएं! और इसकी चर्चा अगर मुल्लो के सामने की जाय तो वो इसे हिंदुओ की नहीं, मोदी की साज़िश बताते हैं वो कहते हैं की मोदी भड़काता है हम मुल्लो के खिलाफ??
मतलब कोई भी सत्य ये स्वीकार नहीं करेंगे और हर मामले को मोदी से जोड़ेंगे तो गलत मानसिकता ही कही जायेगी!
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